बाड़मेर कलेक्ट्रेट में नौ घंटे चली बैठक में सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल ने अफसरों की तैयारी पर सवाल उठाए। टांका निर्माण रिपोर्ट लंबित रहने, अवैध खनन, सीटी स्कैन मशीन में देरी और नगर परिषद घोटाले की जांच धीमी होने पर कलेक्टर सहित अफसरों को फटकार लगाई।
बाड़मेर: जिला विकास समन्वय एवं निगरानी समिति (दिशा) की मंगलवार को कलेक्ट्रेट कॉफ्रेंस हॉल में आयोजित बैठक में सांसद और विधायकों ने प्रशासनिक लापरवाही पर जमकर नाराजगी जताई। करीब नौ घंटे चली मैराथन बैठक में जनप्रतिनिधियों ने अफसरों से मूलभूत सुविधाओं व सरकारी योजनाओं की प्रगति पर तीखे सवाल पूछे और जवाब मांगा।
सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल, शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी, चौहटन विधायक आदूराम मेघवाल और बाड़मेर विधायक डॉ. प्रियंका चौधरी की मौजूदगी में बैठक हुई। बैठक की शुरुआत से ही माहौल गरमा गया। सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल ने पिछली बैठक में दिए गए निर्देशों की पालन रिपोर्ट को गंभीरता से नहीं लेने पर खनिज विभाग और पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों को फटकार लगाई। उन्होंने दो टूक कहा, अगर अफसर तैयारियों के बिना बैठकों में आते रहेंगे तो इन बैठकों का औचित्य ही क्या रह जाएगा? सरकारी धन की यह बर्बादी क्यों?
टांका निर्माण पर लगी रोक हटाने की रिपोर्ट लंबित रहने पर सांसद उम्मेदाराम बेनीवाल ने जिला कलक्टर टीना डाबी से सवाल किया। उन्होंने राष्ट्रपति से सम्मानित होने पर बधाई देने के साथ ही कटाक्ष किया और कहा, क्या आप दोबारा सम्मानित नहीं होना चाहते? रिपोर्ट अब तक क्यों नहीं भेजी गई? यदि रोक समय पर नहीं हटी तो पानी के गंभीर संकट के हालात बनेंगे। फिर अगले सम्मान के लिए आंकड़े कहां से लाएंगे, जब जनता ही पानी के लिए तरसेगी।
शिव उपखंड क्षेत्र की मोखाब ग्राम पंचायत में खातेदार की जमीन पर अवैध खनन कर सड़क निर्माण का मामला बैठक में छाया रहा। खनन और पीडब्ल्यूडी विभाग के परस्पर विरोधी बयानों पर सांसद बेनीवाल भड़क उठे। खनन विभाग ने कहा कि खनन हुआ ही नहीं, जबकि पीडब्ल्यूडी ने ठेकेदार का नाम तक नहीं बताया।
इस पर सांसद ने तंज कसा कि अगर खनन नहीं हुआ, तो सड़क के लिए मुरम कहां से आई? और अगर सड़क बनी ही नहीं, तो ठेकेदार अज्ञात कैसे? उन्होंने अफसरों की टालमटोल पर नाराजगी जताते हुए कहा कि क्या आप लोग सिर्फ चाय-समोसा खाने यहां आते हो? जनता की समस्याओं पर ऐसी उदासीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

सब ठीक का खेल
बैठक में धोरीमन्ना क्षेत्र के मांगता गांव में अवैध खनन और विस्फोटों से ढाणियों व स्कूल भवनों के जर्जर होने की शिकायतों का मामला भी गरमाया। सांसद ने कहा कि ग्रामीणों और स्कूल प्रिंसिपल द्वारा कई बार लिखित शिकायतें देने के बावजूद विभाग अवैध खनन नहीं हो रहा बताकर मामले को फाइलों में दबाए बैठा है। कागजों में सब ठीक बताकर असलियत छिपाना बंद करें।
अवैध पट्टों की जांच, एक साल में पूरी नहीं
नगर परिषद के अवैध पट्टा प्रकरण की जांच में देरी पर भी सांसद ने कलक्टर और नगर परिषद आयुक्त से कड़े शब्दों में जवाब मांगा। उन्होंने कहा, नगर परिषद में जमकर भ्रष्टाचार हुआ है। इंद्रा रसोई समेत कई घोटाले हुए हैं। एक साल बीत गया, जांच पूरी क्यों नहीं हुई? क्या इसे जानबूझकर लंबित रखकर घोटाले को दबाने की कोशिश है? सांसद ने निर्देश दिया कि जांच किसी सक्षम अधिकारी को सौंपी जाए, ताकि पीड़ितों को न्याय मिल सके।
सीटी स्कैन मशीन कब लगेगी?
बैठक में दिशा सदस्य किरण वीरट ने बाड़मेर राजकीय चिकित्सालय में सीटी स्कैन मशीन लगाने में हो रही देरी पर सवाल उठाया। इस पर सांसद, शिव विधायक रविंद्र सिंह भाटी और डॉ. प्रियंका चौधरी ने भी हस्तक्षेप करते हुए कहा कि मशीन की स्थापना पर हर बार सिर्फ आश्वासन दिए जा रहे हैं। जिला परिषद बैठक में आपने डीएमएफटी से मशीन लगाने की बात कही थी। फिर ये वही रटी-रटाई बातें कब तक चलेंगी। बैठक में जिला कलक्टर ने आश्वस्त किया है कि जल्द ही समाधान होगा।
डीएमएफटी फंड में प्रभावित क्षेत्र उपेक्षित
विधायक रविंद्र सिंह ने आरोप लगाया कि डीएमएफटी फंड के विकास कार्यों में मनमानी की गई है, जिन प्रभावित क्षेत्रों को फंड मिलना चाहिए था, उन्हें नजरअंदाज कर स्वीकृतियां अन्यत्र दे दी गई। इसे गंभीर अनियमितता बताया गया।
चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी कर रहा जांच
दिशा सदस्य तगाराम खती ने गिराब पीएचसी की स्थिति उजागर की। डॉक्टर की अनुपस्थिति में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी द्वारा मरीजों की जांच, दवाइयां देने और फर्जी तरीके से एमएलसी जारी करने की शिकायत पर सांसद तिलमिला उठे। उन्होंने कलेक्टर से कहा, यह कैसा खेल चल रहा है? मामला संज्ञान में आने के बाद भी कार्रवाई ठंडे बस्ते में क्यों डाल दी गई।
