पूर्व मंत्री डॉ. रतन लाल जाट का निधन:जयपुर में इलाज के दौरान तोड़ा दम; जनता दल से की थी राजनीति की शुरुआत

BHILWARA
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भीलवाड़ा जिले के सहाड़ा क्षेत्र के वरिष्ठ भाजपा नेता एवं शिक्षाविद् डॉ. रतनलाल जाट का गुरुवार को लंबी बीमारी के बाद जयपुर के अस्पताल में निधन हो गया। डॉ. जाट को पिछले लंबे समय से कई मल्टीपल प्रॉब्लम थी जिनका इलाज किया जा रहा था। शिक्षा जगत से सार्वजनिक जीवन में आए डॉ. जाट ने दो बार विधायक रहकर क्षेत्र के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

शिक्षक के बाद राजनीति में सक्रिय

डॉ. रतनलाल जाट का जन्म 12 दिसंबर 1948 को सहाड़ा (जिला भीलवाड़ा) में हुआ। उच्च शिक्षा प्राप्त करने के बाद उन्होंने Ph.D. और LL.M. की उपाधि हासिल की। पेशे से शिक्षक रहे डॉ. जाट ने समाजसेवा और शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य किया और बाद में राजनीति में सक्रिय हुए।

राजनीतिक सफर की शुरुआत जनता दल से

उन्होंने राजनीतिक सफर की शुरुआत जनता दल से की और वर्ष 1990 में पहली बार सहाड़ा विधानसभा क्षेत्र से विधायक निर्वाचित हुए। इसके बाद वे भारतीय जनता पार्टी से जुड़े और 1998 के विधानसभा चुनाव में दूसरी बार विधायक बने।अपने राजनीतिक कार्यकाल में डॉ. जाट ने राजस्थान सरकार में उच्च शिक्षा विभाग के मंत्री के रूप में कार्य किया।

राजस्थान राज्य बीज निगम के अध्यक्ष बने

वे राजस्थान राज्य बीज निगम के अध्यक्ष और भीलवाड़ा जिला प्रमुख के पद पर भी रहे।वर्ष 2008 में उन्होंने भाजपा प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ा, जिसमें वे मामूली अंतर से पराजित हुए। बाद में 2021 के सहाड़ा उपचुनाव में भी उन्होंने भाजपा उम्मीदवार के रूप में चुनाव मैदान में उतरकर अपनी राजनीतिक सक्रियता बनाए रखी।

सादे जीवन के साथ आमजन में पहचान

अपने सादे स्वभाव, शैक्षणिक दृष्टिकोण और जनसेवा के समर्पण के कारण डॉ. रतनलाल जाट को क्षेत्र में एक ईमानदार, कर्मठ और जनहितैषी जनप्रतिनिधि के रूप में जाना जाता है।वे आज भी शिक्षा, युवाओं के विकास और ग्रामीण प्रगति के लिए लगातार प्रयासरत हैं।