डॉ. मुक्ता प्रभा ने घुमंतु समाज के बीच मनाई दीपावली, मिठाइयां व दीप वितरित कर बढ़ाई खुशियां

BHILWARA
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शाहपुरा-मूलचन्द पेसवानी
भीलवाड़ा जिले में आयुर्वेद चिकित्सा अधिकारी प्रभारी डॉ. मुक्ता प्रभा ने इस बार दीपावली का पर्व कुछ खास अंदाज में मनाया। उन्होंने अपने ‘बस्ती की दिवाली’ अभियान के अंतर्गत ईंटमारिया व ढिकोला स्थित घुमंतु परिवारों की कच्ची बस्ती में जाकर वहां के बच्चों और परिवारों के साथ दीपावली मनाई। डॉ. प्रभा ने बस्तीवासियों के बीच जाकर मिठाइयां, दीपक और फुलझड़ियां वितरित कीं, जिससे वहां का माहौल आनंद और उमंग से भर उठा।


कार्यक्रम की शुरुआत डॉ. प्रभा ने ‘जय श्रीराम’ के जयघोष से की। उन्होंने कहा कि दीपावली केवल दीपों का नहीं, बल्कि प्रकाश, सकारात्मकता और खुशियों का पर्व है। हर घर में दीप जलाने से न केवल अंधकार दूर होता है, बल्कि मन और समाज में भी सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।

उन्होंने कहा, “हर व्यक्ति को यह प्रयास करना चाहिए कि दीपावली केवल अपने घर तक सीमित न रहे, बल्कि उन घरों तक भी पहुंचे जहाँ आज भी अंधेरा है।”
डॉ. मुक्ता प्रभा ने कहा कि दीप उत्सव का असली आनंद तब होता है जब हम समाज के हर वर्ग को इसमें सहभागी बनाते हैं। उन्होंने बताया कि घुमंतु और जनजातीय समुदाय देश के सामाजिक ढांचे का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं, लेकिन अक्सर वे खुद को मुख्यधारा से अलग महसूस करते हैं। “मेरा प्रयास हमेशा यही रहता है कि ऐसे परिवारों को भी समाज के उत्सवों और खुशियों में शामिल किया जाए,” उन्होंने कहा।
बस्तीवासियों के चेहरों पर दीपावली की चमक देखते हुए डॉ. प्रभा ने कहा, “मेरी असली खुशी इन्हीं लोगों के बीच है। मैं चाहती हूँ कि ये भी समाज की मुख्यधारा में आगे बढ़ें, शिक्षित हों और आत्मनिर्भर बनें।” उन्होंने बच्चों को दीपावली का महत्व बताया और कहा कि स्वच्छता, सद्भाव और सहयोग की भावना ही इस पर्व का सच्चा संदेश है।
कार्यक्रम के दौरान बच्चों ने उत्साहपूर्वक दीप जलाए, फुलझड़ियां जलाईं और मिठाइयां बांटीं। महिलाओं ने भी घर-आंगन को सजाया और डॉ. प्रभा का स्वागत किया। डॉ. मुक्ता प्रभा ने बताया कि वे हर वर्ष किसी न किसी बस्ती, झुग्गी या जरूरतमंद समुदाय के बीच त्योहार मनाती हैं। उनका उद्देश्य है कि समाज के ये वर्ग भी समान रूप से उत्सव का आनंद लें और ‘हर घर दीप जले, हर दिल मुस्कुराए’ का संदेश साकार हो।

इस अवसर पर नर्स मोनिका डांगी, योग प्रशिक्षक कृष्ण कुमार गोड़ तथा महिला योग प्रशिक्षक राबिया बानू भी उपस्थित रहे। सभी ने मिलकर बच्चों को दीपावली की शुभकामनाएं दीं और बस्ती में सामूहिक दीप प्रज्वलन किया। बस्तीवासियों ने डॉक्टर प्रभा का आभार जताते हुए कहा कि यह पहली बार हुआ जब किसी अधिकारी ने उनके बीच आकर त्योहार मनाया। उनके इस मानवीय व्यवहार और आत्मीयता से पूरा समुदाय अभिभूत हो गया। डॉ. मुक्ता प्रभा ने अंत में कहा कि उनका यह अभियान आगे भी जारी रहेगा, ताकि समाज के हर हिस्से में दीपावली की रौशनी समान रूप से पहुंचे और हर घर में खुशियों का दीपक जल सके।